भारत के शेयर बाजार में सोमवार को गिरावट देखने को मिली। वैश्विक संकेतों की मिलीजुली स्थिति और घरेलू बाजार में बिकवाली के कारण प्रमुख इंडेक्स सेंसेक्स और निफ्टी ने नकारात्मक प्रदर्शन किया। कारोबार के अंत में सेंसेक्स 384.55 अंक गिरकर 81,748.57 पर और निफ्टी 100.05 अंक गिरकर 24,668.25 पर बंद हुआ।
गिरावट के कारण
सेंसेक्स और निफ्टी के गिरने के प्रमुख कारण वैश्विक बाजारों से मिल रहे मिश्रित संकेत थे। निवेशकों की निगाहें अमेरिकी फेडरल रिजर्व की नीति पर टिकी हुई हैं। अमेरिका में बढ़ती बांड यील्ड और डॉलर की मजबूती ने निवेशकों को सतर्क कर दिया है। इसके अलावा, आगामी अमेरिकी फेड पॉलिसी और 2025 की दरों को लेकर बाजार में अनिश्चितता बनी हुई है।
क्षेत्रीय प्रदर्शन
बिकवाली का असर निफ्टी के मेटल, आईटी, कमोडिटीज, एनर्जी, एफएमसीजी और फाइनेंशियल सर्विस सेक्टर में विशेष रूप से देखा गया। हालांकि, रियल्टी क्षेत्र में अच्छी मांग देखी गई और 2025 में ब्याज दरों में कटौती की उम्मीदों ने इस सेक्टर को मजबूती दी। इस दौरान निफ्टी बैंक, मेटल और आईटी सेक्टर में दबाव देखा गया।
निफ्टी के अलग-अलग क्षेत्र
निफ्टी बैंक: 2.45 अंक गिरकर 53,581.35 पर बंद हुआ।
निफ्टी मिडकैप 100 इंडेक्स: 451.50 अंक की बढ़त के साथ 59,443 पर बंद हुआ।
निफ्टी स्मॉलकैप 100 इंडेक्स: 123.75 अंक की बढ़त के साथ बंद हुआ।
प्रमुख स्टॉक्स में हलचल
सेंसेक्स पैक में टॉप लूजर्स में टाइटन, अल्ट्राटेक सीमेंट, एनटीपीसी, टीसीएस, भारती एयरटेल, टेक महिंद्रा, इंफोसिस, हिंदुस्तान यूनिलीवर, जेएसडब्ल्यू स्टील और एचडीएफसी बैंक शामिल रहे। वहीं, इंडसइंड बैंक, बजाज फाइनेंस, पावर ग्रिड, एमएंडएम और एक्सिस बैंक टॉप गेनर्स में रहे।
रुपये का हाल
वैश्विक बाजारों में डॉलर की मजबूती के कारण भारतीय रुपया भी दबाव में रहा। रुपया 84.87 के स्तर तक पहुंचा और कारोबार 84.75 से 85.00 के बीच रहने की संभावना जताई जा रही है।
निवेशकों की उम्मीदें
भारतीय बाजार फिलहाल 17-18 दिसंबर को होने वाली अमेरिकी फेडरल रिजर्व की बैठक का इंतजार कर रहे हैं। इस बैठक से मिले संकेतों के बाद ही बाजार की दिशा तय हो सकती है।
इस प्रकार, शेयर बाजार में गिरावट के बावजूद कुछ सेक्टर्स में निवेशकों का विश्वास बना हुआ है और आगामी फेड पॉलिसी पर नजरें टिकी हुई हैं।